मप्र—छग— आयकर के छापे में 70 बेनामी प्रॉपर्टी, बिना काम 170 करोड़ रु. भुगतान के सबूत

भोपाल—रायपुर। मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में चार फर्म के दो दर्जन ठिकानों पर मारे गए आयकर विभाग के छापों की कार्रवाई रविवार को पूरी हो गई। भोपाल-रायपुर में इवेंट और पब्लिसिटी मैनेजमेंट से जुड़े चार कारोबारियों पर पड़े आयकर विभाग के छापे में रविवार को कुछ चौंकाने वाले तथ्य सामने आए।

जानकारी के अनुसार इवेंट कारोबारी संजय प्रगट, मुकेश श्रीवास्तव, टेंट कारोबारी कंजे मियां और अजय जैन के घर-दफ्तरों से 70 बेनामी प्रॉपर्टी के कागजात मिले। छापों में 40 से 50 करोड़ रुपए की टैक्स चोरी उजागर होने का अनुमान है। इसके अलावा 170 करोड़ रु. के ऐसे लेन-देन के भी ठोस सबूत मिले हैं, जिसका बिना किसी काम के भुगतान किया गया था। यह भुगतान जनसंपर्क विभाग के माध्यम विंग से किया गया था। साथ ही 25 करोड़ रु. का ऐसा स्टॉक मिला, जिसका कोई लेखा-जोखा (अनअकाउंटेड) नहीं है। विभाग कुछ बड़े अधिकारियों का रिकॉर्ड खंगाल रहा है। माध्यम के एक अफसर के रिश्तेदार को बड़ा सरकारी काम मिला था।

सूत्रों के अनुसार महत्वहीन कामों के बड़े भुगतान किए गए हैं। पोस्टर, बैनर की सप्लाई के पेमेंट बडे़ पैमाने पर बताए जा रहे हैं। इनमें में कई भ्रामक जानकारियां दी गई हैं। यह भी पता चला है कि छापे में इन लाेगाें से 15 कंप्यूटर हार्डडिस्क मिली हैं। इन्हीं के जरिए विभाग अब टैक्स चाेरी का आकलन करेगा। विभाग ने इसके लिए एक नामचीन हार्डडिस्क एनालिस्ट काे साथ रखा है। इनमें कई बड़े लाेगाें के नाम भी सामने आ सकते हैं। आशंका है कि मामले में करीब 100 कराेड़ रु. की टैक्स चाेरी हाे मिल सकती है।

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