कई बड़े त्यौहारों का है यह सप्ताह
भोपाल। 10 से 16 मई का यह सप्ताह कई बड़े त्यौहारों के नाम रहेगा। सप्ताह की शुरूआत जहां वैशाख अमावस्या से हो रही है तो वहीं इसका अंत वृषभ संक्रांति से होगा। इस बीच ईद-उल-फितर, अक्षय तृतीया और परशुराम जयंती जैसे पर्व भी आ रहे हैं। ये सभी त्यौहार सामूहिक रूप से मनाए जाते रहे हैं, लेकिन कोरोना महामारी के कहर को देखते हुए इस बार घर पर ही पूरी सावधानी के साथ इन त्यौहारों को मनाएं।
वैशाख अमावस्या
वैशाख अमावस्या 11 मई मंगलवार के दिन है। इस कारण यह भौम अमावस्या है। वैशाख अमावस्या को धर्म-कर्म, स्नान-दान और पितरों के तर्पण के लिए बहुत ही शुभ माना जाता है। इस दिन काल सर्प दोष से मुक्ति पाने के ज्योतिषीय उपाय किए जाते हैं।
ईद-उल-फितर
रमजान के पाक महीने के बाद ईद-उल-फितर यानि मीठी ईद आती है। इस्लामिक कैलेंडर के अनुसार ईद हर साल रमजान के बाद 10वें शव्वाल की पहली तारीख को मनाई जाती है। ईद का त्योहार चांद को देखकर मनाया जाता है। इस साल अगर 12 मई को चांद दिखा तो ईद का त्योहार 13 मई को मनाया जाएगा। वहीं यदि 13 मई को चांद का दीदार हुआ तो ईद 14 मई को मनाई जाएगी।
अक्षय तृतीया
अक्षय तृतीया 14 मई शुक्रवार को मनाई जाएगी। हर साल यह पर्व वैशाख माह में शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि पर मनाया जाता है। शास्त्रों के अनुसार अक्षय तृतीया सभी पापों का नाश करने वाली एवं सभी सुखों को प्रदान करने वाली तिथि है। विवाह सहित इसे सभी कार्यो के लिए शुभ मुहूर्त माना जाता है।
परशुराम जयंती
परशुराम जयंती 14 मई शुक्रवार के दिन मनाई जाएगी। पौराणिक मान्यता है कि भगवान परशुराम भार्गव वंश में जन्मे भगवान विष्णु के छठे अवतार हैं। इन्हे चिरजीवी माना जाता है। उनका जन्म त्रेतायुग में हुआ था। परशुरामजी की जयंती वैशाख मास में शुक्ल पक्ष तृतीया को मनाई जाती है। इस पावन दिन को अक्षय तृतीया कहा जाता है।
वृषभ संक्रांति
वृषभ संक्रांति 14 मई शुक्रवार को है। इस दिन सूर्य देव वृष राशि में प्रवेश करेंगे। शास्त्रों में वृषभ संक्रांति को मकर संक्रांति के समान माना गया है। इस दिन पूजा-पाठ, जप, तप और दान का विशेष महत्व बताया गया है।